सफलता
"जब जिवन मेँ लगातार असफलताए मील रही हो तब सफलता के लिये 'प्रयास ' करना बंद करो , क्योँकी आत्मग्लानी का बोझ ढोने वालेँ को सफलता कभी नही मिलती है ।
जहाँ हो वही स्थित हो जाओ । प्रथम अपने गिरने का फोर्स समाप्त करो और बाद मेँ उपर चढने का प्रयास प्रारंभ करो ।
सफलता तुम्हारे कदमोँ मेँ होगी ।"
-श्री शिवकृपानंद स्वामीजी
-सत्य के संदेश : 28
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