आभामंडल

27) माँ के संस्कारों का, माँ के विचारों का, माँ के सान्निध्य का उस बच्चे के आभामंडल पर अच्छा या बुरा, दोनों ही प्रकार का प्रभाव पड़ता है |

28) इसीलिए गर्भावस्था में माँ को अच्छी संगत में रहना चाहिए, अच्छे विचार करना चाहिए, अच्छा संगीत सुनना चाहिए, अच्छा साहित्य पढ़ना चाहिए |

29) छोटे जन्मे बच्चे का आभामंडल साधारणत: अच्छा ही होता है | इसीलिए हमें छोटे बच्चे के सान्निध्य में सदैव अच्छा लगता है |

30) सामान्य मनुष्य को यह याद रखना चाहिए कि जिसका आभामंडल अच्छा होता है, उसके सान्निध्य में हमें अधिक देर बैठने की इच्छा होती है | जिसका अाभामंडल खराब होता है, उसके पास से उठकर जाने को मन करता है | यही आभामंडल की पहचान है |

31) प्रभु ने हमें एक सामान्य मनुष्य के रूप में जन्म दिया है जो अपनी मनुष्यता की पहचान लेकर जन्मा है |

32) हम जाति, भाषा, धर्म, प्रदेश, देश ऐसे अलग-अलग लबादे अपने ऊपर चढाते जाते हैं और उस मनुष्यता से दूर होते जाते हैं | इसलिए सर्वप्रथम हमें सदैव याद रखना चाहिए - हम पहले मनुष्य है, बाद में सब है |

33) ऐसा किया तो हमारी मनुष्यता की जड़ को पकड़कर रख सकेंगे | तो ही हमारा आभामंडल पवित्र रह पाएगा, प्राकृतिक रह पाएगा |

34) आप अपने आपको एक सामान्य मनुष्य ही समझो तो ही उस विश्वचेतना से जुड़े रहोगे | जहाँ आपने कोई विशेष समझा कि आप अलग हो गए और दूर-दूर होते ही चले जाओगे |
क्रमश: ....

अध्यात्मिक सत्य
18/03/2007, रविवार... पन्ना क्र. 97✍

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