[18/03 6:04 pm] +91 72196 19771: 🙏🏻 *॥जय बाबा स्वामी॥* 🙏🏻
ईश्वर प्राप्ति के अनेक मार्ग हैं। उनमें ही एक मार्ग 'समर्पण ध्यानयोग' है। और इस मार्ग के उपर जो लोग चलते हैं , उन्हें इस मार्ग पर चलनेवाली शक्तीयाँ सामूहिक शक्तियाँ प्रदान करती हैं और इस मार्ग पर चलनेवालों का जीवन सुख और शांति से व्यतीत होता है। इस मार्ग के कुछ सिद्धांत हैं और इन्हीं सिद्धांतों पर यह पद्धति आधारित है।
पहला सिद्धान्त - परमात्मा सर्वत्र व्याप्त विश्वव्यापी शक्ति है, दुसरा - सद्गुरु इस विश्वव्यापी शक्ति का माध्यम है, तिसरा - विश्व में एक ही धर्म है - मानव धर्म और चौथा - अहिंसा ही सत्य धर्म है और पाँचवा - परमात्मा के प्रति अपना संपूर्ण समर्पण ही मोक्ष है। इन्हीं सिद्धांतों पर यह पद्धति आधारित है।
*हिमालय का समर्पण योग २/१८०*
🙏🏻 *॥आत्म देवो भव:॥* 🙏🏻
[18/03 8:01 pm] +91 72196 19771: *हे स्वामी ,*
*गीता कुरान गुरूग्रंथ तुम्ही*
*येशू की क्षमाभावना तुम्ही...*
🙇♀ 🙇
ध्यान करते नहीं आता। ध्यान करने का प्रयास करते हैं , ध्यान करने का प्रयत्न करते हैं लेकिन ध्यान नहीं लगता। साधारणतः ये समस्या सभी साधकों की है। इस समस्या को जानकरके ही, इस समस्या को समझकरके ही एक प्रयास किया गया है, एक प्रयत्न किया गया है। ३६घंटे अनुष्ठान करके एक स्थान को इतना पवित्र किया गया है , इतना शुद्ध किया गया है जिसके भीतर जाते ही ध्यान लग जाता है। वो स्थान है अरडका का अजमेर का राजस्थान का गादीस्थान। उस स्थान पर जैसे ही आप अंदर प्रवेश करोगे न , ध्यान करने की भी आवश्यकता नहीं है;आप जाके बैठ जाओ , ध्यान खुद लग जाएगा। नहीं , तो उससे क्या होगा? एक बार अनुभव लेके देखो न !
एक बार अनुभव लेके देखो , उससे तुम्हारे अंदर एक कॉनफिडन्स डेवलप (आत्मविश्वास निर्माण) होगा कि मेरा भी ध्यान लग सकता है , मेरे भी विचार बंद हो सकते हैं । तो ऑटोमेटिकली क्या होगा? फिर आपका आत्मविश्वास बढ़ेगा। और फिर ....रोज वहाँ जाने की आवश्यकता नहीं है; एक ...खूब मन बनाकरके जाओ , खूब भाव के साथ जाओ। जीवन में एक बार जाओ , एक ही बार जाओ लेकिन पूरे भाव के साथ जाओ। और जाने के बाद में, वहाँ जो अनुभूति हुई है , वहाँ जो अनुभव होगा , उस अनुभव को सम्भालकरके बाहर आओ। और बाहर आने के बाद में केवल आप उस घटना को याद भी करोगे तो भी ध्यान लग जाएगा। इतना सरल , इतना आसान तरीका , मार्ग गुरुशक्तियों ने निकाला है।
*पूज्य गुरुदेव का प्रवचन ९ नवे. २०१७*
*॥जय बाबा स्वामी॥*
🙏🏻 *॥आत्म देवो भव:॥* 🙏🏻
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