आपके आसपास इसलिए परिस्थिती खराब है क्योंकि आपके भीतर की स्थिति खराब है।
तुम्हें लगता होगा, कि हम तो रोज, प्रतिदिन की समस्याओं से ही घिरे हुए हैं। और स्वामीजी सदैव क्या 'मोक्ष की स्थिति' की बातें करते रहते हैं। हमारे जीवन में ढेर सारी समस्याएँ हैं , हमारे आसपास की परिस्थिती खराब है। *मुझे सब मालूम है। आपके आसपास इसलिए परिस्थिती खराब है क्योंकि आपके भीतर की स्थिति खराब है।* और आप हैं कि भीतर की स्थिति ठीक करने का प्रयास ही नहीं करते। अपनी ऊर्जा बाहर की स्थिति सुधारने में ही खर्च कर रहे हैं। आप आपके भीतर की स्थिति की ओर ध्यान नहीं देते, इसलिए मैं केवल भीतर की स्थिति की बातें करता हूँ। उद्देश एक ही है -- आपकी भीतर की स्थिति सुधारे ताकि आपकी बाहर की स्थिति सुधर सके।
-- सद्गुरू के हृदय से
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